वर्ष 1905 में बंगाल विभाजन के दौरान वो भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन में शामिल हुईं।
वर्ष 1905 में बंगाल विभाजन के दौरान वो भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन में शामिल हुईं।
वर्ष 1925 में वो भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की अध्यक्ष चुनी गयीं। सविनय अवज्ञा आंदोलन में वो गांधी जी के साथ जेल भी गयीं।
वर्ष 1925 में वो भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की अध्यक्ष चुनी गयीं। सविनय अवज्ञा आंदोलन में वो गांधी जी के साथ जेल भी गयीं।